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पुलिस अधिकारी बनकर वादी और प्रतिवादी को झांसा देकर पैसे वसूली करने वाले गिरोह का हुआ भंडाफोड़

पुलिस अधिकारी बनकर विभिन्न मुकदमों में वादी तथा प्रतिवादी से काम कराने का झांसा देकर पैसे की वसूली करने वाले गिरोह का थाना बिसंडा व साइबर थाना की संयुक्त पुलिस टीम द्वारा पर्दाफाश किया गया। गिरोह के एक सदस्य को गिरफ्तार कर लिया गया है तथा शेष अभियुक्तों की गिरफ्तारी के लिए प्रयास किए जा रहे हैं। अभियुक्तों द्वारा UPCOP App से विभिन्न मुकदमों की FIR डॉउनलोड कर वादी को कार्यवाही का भरोसा देकर तथा प्रतिवादी को मुकदमा समाप्त करने का झांसा देकर पैसों की वसूली की जाती थी। म0प्र0 के टीकमगढ़ के ग्राम महेवा से चलाते थे फर्जीवाड़े का गिरोह। पुलिस अधीक्षक बांदा अंकुर अग्रवाल के निर्देशन में तथा अपर पुलिस अधीक्षक बांदा लक्ष्मी निवास मिश्र के निकट पर्यवेक्षण में थाना बिसंडा व साइबर थाना की संयुक्त पुलिस टीम द्वारा पुलिस अधिकारी बनकर फर्जी तरीके से पैसे की वसूली करने वाले गिरोह का पर्दाफाश करते हुए एक अभियुक्त को गिरफ्तार कर लिया गया। थाना बिसंडा क्षेत्र अन्तर्गत ग्राम दफ्तरा के रहने वाले मनीष पटेल ने दिनांक 01.04.2024 को पुलिस अधीक्षक बांदा के समक्ष प्रार्थना दिया कि दिनांक 31.03.2024 की शाम को एक पुलिस अधिकारी द्वारा मो0नं0 9630390379 द्वारा उनके फोन पर कॉल करके कहा गया कि वह पुलिस अधीक्षक कार्यालय बांदा से बोल रहे है। उसने कहा कि तुम्हारी पत्नी ने तुम्हारे विरुद्ध मुकदमा लिखवाया है यदि मुकदमा समाप्त कराना चाहते हो इसी नम्बर पर 50 हजार रुपये पे-टीएम से भेज दो यदि तुमने ऐसा नहीं किया तो तुम्हे जेल जाना पड़ेगा। प्रकरण का संज्ञान लेकर पुलिस अधीक्षक बांदा द्वारा साइबर थाना व थाना बिसंडा की संयुक्त पुलिस टीम को मामले के अनावरण व अभियुक्त की गिरफ्तारी के लिए लगाया गया। पुलिस टीम द्वारा सर्विलांस की मदद् से शिकायतकर्ता के पास आये कॉल के मोबाइल नम्बर की लोकेशन के आधार पर अभियुक्त को पुलिस टीम द्वारा थाना सेंदरी जनपद निवाड़ी (म0प्र0) पुलिस की सहायता से ग्राम तरीचर खुर्द से पूछताछ हेतु हिरासत में लिया गया। पूछताछ में अभियुक्त मानवेन्द्र उर्फ मोनू यादव पुत्र प्रभु दयाल यादव निवासी महेवा चक-2 थाना लेधौरा जनपद टीकमगढ़ द्वारा बताया गया कि उसके गांव महेवा के अधिकांश लड़के जालसाजी का काम करते हैं। वे उत्तर प्रदेश पुलिस के UPCOP Application के माध्यम से उ0प्र0 के किसी भी जनपद के किसी भी थाने में पंजीकृत एफआईआर की कॉफी निकालकर उसका पूरा मामला समझते हैं जिसके उपरांत पुलिस अधिकारी बनकर दूसरे के नाम पर जारी फर्जी नाम पता के सिमकार्ड से मुकदमें के वादी से वार्ता कर उन्हे कार्यवाही का विश्वास दिलाकर पैसे की वसूली करते हैं साथ ही मुकदमें के वादी से प्रतिवादी का नम्बर लेकर प्रतिवादी से बात कर उसे मुकदमा समाप्त कराने का भरोसा दिलाकर पैसे की वसूली करते हैं पैसे न देने पर जेल भेजने के लिए डराते हैं। गिरफ्तार अभियुक्त द्वारा बताया गया कि उसको यह काम उसके गांव के ही राहुल यादव ने सिखाया था तथा वहीं सिमकार्ड व मोबाइल उपलब्ध कराता था साथ ही किस खाते में पैसा लेना है वही बताता है। जो भी पैसा फर्जीवाड़े से मिलता है उसका 30% राहुल लेता था। अभियुक्त द्वारा बताया गया कि दिनांक 31.03.2024 को उसने थाना बिसंडा के ग्राम दफ्तरा के रहने वाले मनीष पटेल को भी फोन किया था। अभियुक्त के कब्जे से फर्जीवाड़े में प्रयुक्त 01 एंड्रायड फोन व 01 फर्जी सिमकार्ड बरामद हुआ है। प्रकरण में अग्रिम कार्वाही की जा रही तथा इस नेटवर्क से जुडें अन्य लोगों पर कड़ी कार्यवाही की जायेगी। गिरफ्तार अभियुक्त-
मानवेन्द्र उर्फ मोनू यादव पुत्र प्रभु दयाल यादव निवासी महेवा चक-2 थाना लेधौरा जनपद टीकमगढ़ (म0प्र0) । वांछित अभियुक्त में 1. राहुल यादव पुत्र कुवारे लाल निवासी महेवा चक-2 थाना लेधौरा जनपद टीकमगढ़ (म0प्र0), 2. अन्य अज्ञात

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